बंदी के पास कपड़े व सामान भेजवाना है तो पांच सौ लगेगा!

लखनऊ जेल में कार्रवाई नही होने से जेल सुरक्षार्मी हुुए बेलगाम

डीआईजी जेल ने कहा कि मामले की जांच कराई जाएगी

लखनऊ। जेल मुख्यालय के निर्देशों के बाद भी जेल सुरक्षाकर्मी सुधरने का नाम नहीं ले रहे हैं। वाकया राजधानी की जिला जेल का है। दीपावली पर जेल में बंदी को सामान पहुुंचाने गए एक मुलाकाती ने जब जेल सुरक्षाकर्मियों से बंदी के पास सामान भेजवाने का आग्रह किया तो उसने बताया कि सिर्फ मुलाकात करने आए बंदियों को ही सामान दिया जाता है। अलग से सामान भेजन के लिए सुविधा शुल्क (पांच सौ रुपए ) देना होगा।।
जानकारी के मुृताबिक आशियाना के एक व्यक्ति को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। इसकी जानकारी जब परिजनों को हुई तो उन्होंने बंदी के पास कपड़े व खानपान सामान पहुंचाने के लिए जेल पहुंच गए। पीडि़त परिजनों का आरोप है कि जेल में मुलाकात पर्ची नहीं लगी होने की वजह से जब उन्होंने मुलाकातघर में मौजूद एक कर्मी सतेंद्र से वाकया बताते हुए कहा कि उन्हें इस बात की जानकारी नहीं थी कि मुलाकात की पर्ची लगने वाले बंदियों का ही सामान भेजा जाता है।

उन्होंने जब बंदी के पास सामान भेजवाने का आग्रह किया तो उसने बताया कि इसके लिए पांच सौ रुपये लगेंगे। पीडि़त का कहना है कि जब उसने ने जेलर से मुलाकात करने का प्रयास किया तो जेलकर्मियों ने उन्हें जेलर के व्यस्त होने की बात कहते हुए मुलाकात कराने से मना कर दिया। अवैध वसूली की जानकारी होने पर जब इस संबंध में लखनऊ परिक्षेत्र के डीआईजी जेल शैलेंद्र मैत्रेय से सम्पर्क किया गया तो उन्होंने बताया कि ऐसा नहीं है कि मुलाकात करने वाले बंदियों का ही सामान भेजवाए जाने का प्रावधान है। ऐसा कोई मामला उनके संज्ञान में नहीं है। फिर भी वह जानकारी करेंगे कि जेलकर्मियों ने सामान लेने से क्यों इनकार किया। इस मामले में यदि कोई दोषी पाया गया तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

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