प्रतापगढ़। सर्वप्रथम विद्यालय की निदेशिका अलका सिंह ने कविवर सुब्रह्मण्यम भारती की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर, उन्हें याद किया तथा छोटे-छोटे बच्चों ने महान कविवर के लिए प्रस्तुति दी। दूसरे चरण में सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस अवसर पर छात्रा हर्षिता, परी, रितिका, वैष्णवी, अग्रिमा,यशश्वी, आस्था, नित्या, अदिति, श्रेया आदि ने कविवर सुब्रह्मण्यम भारती की कविता और जीवनी प्रस्तुत कर सबको मंत्रमुग्ध कर दिया और इसी क्रम में छात्र अखिलेश, आरव, सानिध्य, अग्रज, आकाश, जयंत, आदि ने सदियों चली आ रही धर्मनिरपेक्षता और एकता की परंपरा को जीवंत करते हुए भाषण व गायन की प्रस्तुतियां दी।
विद्यालय के हिंदी शिक्षक सुनील पाण्डेय ने महान कविवर सुब्रह्मण्यम भारती के बारे में बताते हुए कहा कि वे एक महान तमिल कवि थे। उन्हें ‘महाकवि भरतियार’ के नाम से भी जाना जाता है। देशप्रेम की भावना से ओत-प्रोत कविताएं लिखने वाले भारती, कवि के साथ-साथ भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में शामिल सेनानी, समाज सुधारक, पत्रकार भी थे। उनकी रचनाओं से प्रभावित होकर काफी संख्या में लोग स्वतन्त्रता आन्दोलन में शामिल हुए। विद्यालय के समस्त शिक्षक शिक्षिकाओं ने अपनी कक्षा के बच्चों से भारती की कविताओं का गायन करवाया तथा निबंध और जीवनी लिखवाया तथा चित्र बनवाकर उनके बारे में जानकारी दी।
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