अपनी आस्था का सार्वजनिक प्रदर्शन करके गलत परम्परा डाल रहे हैं मुख्य न्यायाधीश:  आलम

  • अल्पसंख्यक कांग्रेस ने भेजा मुख्य न्यायाधीश को पत्रक
  • सीजेआई द्वारा गांधी जी को गलत संदर्भों में उद्धरित करने पर जताई असहमति

लखनऊ। मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ द्वारा हाल ही में अपनी आस्था का सार्वजनिक प्रदर्शन कर नई परंपरा डालने और गाँधी जी को गलत संदर्भों में उद्धरित करने पर अल्पसंख्यक कांग्रेस ने विभिन्न ज़िलों से मुख्य न्यायधीश के नाम पत्रक भेजकर अपनी असहमति जतायी है। कांग्रेस मुख्यालय से जारी प्रेस विज्ञप्ति में अल्पसंख्यक कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष शाहनवाज़ आलम ने कहा है कि डीवाई चंद्रचूड़ से पहले किसी भी मुख्य न्यायाधीश ने अपनी आस्था का सार्वजनिक प्रदर्शन नहीं किया था। अगर वो अपने आस्था के आधार पर मंदीर, मस्जिद, गुरुद्वारा या चर्च जाते भी थे तो इसे निजी स्तर पर करते थे। उसे सार्वजनिक फोटो शूट का इवेंट और बयानबाज़ी का अवसर नहीं बनाते थे। लेकिन मौजूदा मुख्य न्यायाधीश ने ऐसा करके एक नयी परंपरा शुरू कर दी है जो अधिकृत तौर पर एक सेकुलर राज्य के मूल्यों के अनुरूप नहीं है।

उन्होंने कहा कि अखबारों में मुख्य न्यायाधीश का यह कथन भी छपा है कि वो ऐसा महात्मा गॉंधी के जीवन और मूल्यों से प्रभावित हो कर न्यायपालिका के सामने पेश चुनौतियों को समझने और उनके हल ढूंढने के लिए विभिन्न राज्यों में घूम रहे हैं। जो कि ऐतिहासिक तौर पर गलत है क्योंकि दक्षिण अफ्रीका से भारत आने पर गांधी जी ने पूरे देश का भ्रमण कर समाज को समझने की कोशिश ज़रूर की थी लेकिन वो सार्वजनिक तौर पर किसी पूजा स्थल पर नहीं गए थे सिवाए मदुरई के मीनाक्षी मंदिर के और वो भी 1946 में जब मंदिर प्रशासन ने दलितों को प्रवेश की अनुमति दे दी थी। उन्होंने कहा कि ज्ञापन में गाँधी जी के संदर्भ में गलत तथ्यों के प्रस्तुतिकरण पर आपत्ति जताई गयी है।

ज्ञापन में यह भी कहा गया है कि जब वरिष्ठ क़ानूनविद, सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज और वरिष्ठ वकील उनके एक साल के कार्यकाल पर सार्वजिनिक तौर पर सवाल उठा रहे हों और वो उनके सवालों का जवाब देने से स्पष्ट तौर पर इनकार कर दे रहे हों, एक ऐसे समय में जब यह आम धारणा बनती जा रही हो कि वो मोदी सरकार के खिलाफ़ मौखिक सख्ती तो दिखाते हैं लेकिन कोई कार्यवाई नहीं करते, उनके नेतृत्व वाली कोलेजियम हेट स्पीच करने वाली भाजपा महिला मोर्चा की नेत्री विक्टोरिया गौरी को चेन्नई हाई कोर्ट का जज नियुक्त कर देती हो और वरिष्ठता के बावजूद जस्टिस अकील कुरैशी को सरकार के दबाव के कारण सुप्रीम कोर्ट में जज नहीं बनाया जाता हो तब उनका यह आचरण कई तरह के सवाल पैदा करता है।

ज्ञापन में आगे कहा गया है कि जब संविधान की प्रस्तावना में सेक्युलर शब्द की मौजूदगी को कलंक बताने वाले जम्मू कश्मीर के मुख्य न्यायाधीश पंकज मित्तल को प्रमोट करके सुप्रीम कोर्ट में जज बना दिया जाता हो या यह धारणा जब मजबूत हो रही हो कि वे पूजा स्थल अधिनियम 1991 को कमज़ोर करने की दिशा में बढ़ रहे हैं, जब सुप्रीम कोर्ट मौलिक ढांचे में बदलाव के खिलाफ़ दिए गए अपने ही सबसे बड़ी संवैधानिक बेंच के फैसले के खिलाफ़ जाकर संविधान की प्रस्तावना से समाजवादी और सेकुलर शब्द हटाने की याचिका को सुनवाई के लिए स्वीकार कर रहा हो, प्रधान मंत्री के आर्थिक सलाहकार परिषद के अध्यक्ष द्वारा सार्वजनीक तौर पर संविधान को बदल देने की वकालत करने पर भी जब वो चुप रहते हों तब अपनी आस्था के सार्वजानिक प्रर्दशन और गांधी के गलत उद्धरणों के इस्तेमाल से उनकी मंशा पर संशय उत्पन्न होना स्वाभाविक है।

Uttar Pradesh

निर्माण कार्यों में गुणवत्ता का ध्यान रखे अभियंता: डीजी जेल

जेलों की सुरक्षा व्यवस्था सुदृढ़ करें अधिकारी नवनियुक्त डीजी जेल ने किए बरेली जनपद की सभी जेलों का निरीक्षण लखनऊ। प्रदेश के नवनियुक्त महानिदेशक कारागार पीवी रामशास्त्री ने शनिवार को बरेली जनपद की समस्त जेलों का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने अधिकारियों को जेलों को व्यवस्थाओं को सुद्रण करने के निर्देश दिए। निर्माणाधीन जिला जेल […]

Read More
Uttar Pradesh

सशस्त्र प्रहरी बल ने 17 वे स्थापना दिवस को बड़ी धूमधाम से मनाया

भैरहवा – सशस्त्र प्रहरी बल, नेपाल नं. 5 बिंध्यवासिनी वाहिनी मुख्यालय, रूपनदेही, सशस्त्र प्रहरी बल के उप महानिरीक्षक (डीआईजी) अभिकुमार खत्री ने कहा कि नागरिकों को साथ लेकर प्रदर्शन में सुधार किया जाएगा। उन्होंने सशस्त्र बलों की हर गतिविधि में आम लोगों का समर्थन और सहयोग की अपील किया है । सशस्त्र प्रहरी बल, नेपाल […]

Read More
Raj Dharm UP

चार जून की प्रतीक्षा, माफिया की उसके बाद नहीं होगी रक्षा

सीएम योगी का बड़ा ऐलान, कहा- चार जून के बाद माफिया मुक्त राज्य घोषित होगा उत्तर प्रदेश अब मटियामेट करने की कसम खा ली है यूपी के सीएम ने, जो कहते हैं वो कर दिखाते हैं योगी ए. अहमद सौदागर लखनऊ। योगी आदित्यनाथ पर विपक्षी दल लगातार आरोप लगाते रहे कि उन्होंने अपने सजातीय अपराधियों […]

Read More