उमेश चन्द्र त्रिपाठी
लखनऊ/अलीगढ़। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ रविवार को अपने एक दिवसीय दौरे पर अलीगढ़ पहुंचे। उन्होंने कलेक्ट्रेट सभागार में अलीगढ़ मंडल के चारों जिलों अलीगढ़, हाथरस, एटा और कासगंज के जनप्रतिनिधियों व भाजपा पदाधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। इस बैठक का मुख्य केंद्र बिंदु रहा विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान (SIR), जिसके प्रति मुख्यमंत्री ने गंभीरता व सख्ती दोनों का संकेत दिया।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि सभी जनप्रतिनिधि व पार्टी पदाधिकारी बूथ स्तर पर पहुंचकर शत-प्रतिशत मतदाताओं के गणना प्रपत्र भरवाने का कार्य सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि मतदाता सूची लोकतांत्रिक व्यवस्था की बुनियाद है। इसमें किसी भी प्रकार की त्रुटि या लापरवाही स्वीकार्य नहीं होगी। मुख्यमंत्री ने सुस्त प्रगति पर नाराजगी जताते हुए स्पष्ट कहा कि अभियान को मिशन मोड में चलाया जाए। प्रत्येक पात्र मतदाता तक पहुंच बनाई जाए।
मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिया कि 11 दिसंबर तक पारदर्शी मतदाता सूची तैयार करने के लिए फार्म भरवाने पर विशेष ध्यान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने चेतावनी दी कि अपात्र या मृतक व्यक्तियों के नाम मतदाता सूची में न बने रहें। ऐसे नामों को तत्काल हटाया जाए। उन्होंने कहा कि कोई भी ऐसा व्यक्ति जो गांव में निवास नहीं करता या जिनका देहांत हो चुका है, उनके नाम सूची में बने रहना चुनाव प्रक्रिया के साथ अन्याय है। योगी ने यह भी कहा कि विवाह समारोहों व सामाजिक आयोजनों के इस व्यस्त मौसम में पार्टी पदाधिकारियों को अपनी प्राथमिकताएं तय करनी होंगी। उन्होंने सुझाव दिया कि निजी कार्यक्रमों में प्रतिनिधित्व के लिए अन्य लोगों को भेजा जाए। स्वयं एसआईआर अभियान में अधिक समय दिया जाए। सीएम ने कहा कि पारदर्शी व अद्यतन मतदाता सूची लोकतंत्र की मजबूती का आधार है, इसलिए इसे किसी भी स्थिति में हल्के में न लिया जाए। बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने सभी पदाधिकारियों को स्पष्ट संदेश दिया कि यह केवल प्रशासनिक कार्य नहीं, बल्कि संगठन की जिम्मेदारी है, जिसे प्रत्येक बूथ पर परिणामों के साथ सिद्ध करना होगा।
