अभिजित मुहूर्त 11.45 से 12.45 राहुकाल 02:14 से 03:48 जानें आज का हिन्दू पंचांग

डॉ उमाशंकर मिश्रा


हर दिन कुछ खास लेकर आता है। इस दिन क्या पर्व है और क्या तिथि है, इस बारे में जान लेने से हमें कई फायदे होते हैं। एक दिन के अंदर एक बार राहुकाल आता है, जो हमें कहता है कि इस समय आपको थोड़ी सावधानी बरतनी है। साथ ही पंचाग हमें ये भी बताता है कि आज किस दिशा की ओर दिशाशूल है। यदि हमें मजबूरन यात्रा भी करनी है, तो वह उसका निदान भी बताता है। इसलिए नया लुक आपको नित्य पंचाग देता है, देखिए और लाभ लीजिए।


दिन –                                       गुरूवार

विक्रम संवत –                        2080 (गुजरात – 2079)

शक संवत –                             1945

अयन –                                   उत्तरायण

ऋतु –                                     वसंत ॠतु

मास –                                     वैशाख (गुजरात एवं महाराष्ट्र के अनुसार चैत्र मास)

पक्ष –                                     कृष्ण

तिथि –                                   अष्टमी रात्रि 25:34 तक तत्पश्चात नवमी

नक्षत्र –                                  पूर्वाषाढा सुबह 10:43 तक तत्पश्चात उत्तराषाढा

योग –                                    शिव दोपहर 12:34 तक तत्पश्चात सिद्ध

राहुकाल-                                 दोपहर 14:14 से शाम 15:48 तक

सूर्योदय-                                 06:22

सूर्यास्त-                                 18:55

दिशाशूल-                                दक्षिण दिशा में

व्रत पर्व विवरण –                       शीतलाष्टमी, कालाष्टमी ।

विशेष – अष्टमी को नारियल का फल खाने से बुद्धि का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)

Religion

क्या आप जानते हैं नवांश कुण्डली का महत्व और प्रभाव, यदि नहीं तो यह लेख जरूर पढ़ें…

देव नवांश, नर नवांश और राक्षस नवांश के नाम से जाने जाते हैं नवमांश यदि ग्रह अच्छी स्थिति या उच्च के हों तो वर्गोत्तम की स्थिति होती है उत्पन्न -राजेन्द्र गुप्ता, ज्योतिषी और हस्तरेखाविद वैदिक ज्योतिष में नवमांश कुण्डली को कुण्डली का पूरक माना गया है। यह एक अत्यंत महत्त्वपूर्ण कुण्डली मानी जाती है क्योंकि […]

Read More
Religion

चल रहा है बहुत ही पुण्य मास, करें केवल दो छोटे उपाय और पायें सुख, शांति और स्थिर लक्ष्मी

पापरूपी ईंधन को अग्नि की भाँति जलाने वाला, अतिशय पुण्य प्रदान करनेवाला तथा धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष यानी चारों पुरुषार्थों को देनेवाला है वैशाख मास, जानें इसका महात्म्य पं. उमाशंकर मिश्र ‘शास्त्री’ वैशाख मासः पद्म पुराण के अनुसार इस मास में भक्तिपूर्वक किये गये दान, जप, हवन, स्नान आदि शुभ कर्मों का पुण्य अक्षय […]

Read More
Religion

क्या है हनुमान् और बजरंगबली का वास्तविक अर्थ, जानें व्याकरण की भाषा में

कमलेश कमल व्याकरणिक दृष्टि से देखें, तो ‘हनुमत्’ से ‘हनुमान्’ शब्द की निर्मिति है। जैसे ‘धीमत्’ से ‘धीमान्'(बुद्धिमान्), ‘विद्वत्’ से ‘विद्वान्’; उसी तरह ‘हनुमत्’ से ‘हनुमान्’। अब इस ‘हनुमान्’ शब्द को देखें, तो ‘हनु’ और ‘मान्’ दो शब्द मिलते हैं। चूँकि कोई दो वर्ण नहीं मिल रहे हैं और न ही कोई विकार उत्पन्न हो […]

Read More