- दागी उपनिरीक्षक ने नियम-कानून की चढ़ाई थी बलि, कबरई थाने में तैनात हत्यारोपी दरोगा अंकित गिरफ्तार
- बीते दिनों रमना गांव के पास हत्या कर फेंकी गई मिली थी लाश
ए अहमद सौदागर
लखनऊ। हमीरपुर जिले के मौदहा थाना क्षेत्र के रमना गांव किशनपुर के पास बसवारी रोड किनारे बीते दिनों जिस महिला की बेरहमी से हत्या कर फेंकी गई लाश मिली थी उसकी हत्या किसी आम आदमी ने नहीं, बल्कि शातिर अपराधियों को पकड़ने के लिए जाल बिछाने वाले कबरई थाने में तैनात उपनिरीक्षक अंकित कुमार यादव ने किया था। अपनी महिला मित्र की जान लेने का ऐसा ताना-बाना बुना, जिसका राजफाश पूरे पुलिस महकमे को शर्मिन्दा कर गया।
ये भी पढ़ें
सनद रहे कि बीते 13 नवंबर 2025 को हमीरपुर जिले के मौदहा थाना क्षेत्र के रमना गांव किशनपुर के पास बसवारी रोड सड़क किनारे हत्या कर फेंकी गई एक महिला की लाश मिली थी। यह घटना पुलिस के लिए मानो एक बड़ी चुनौती थी। मौदहा पुलिस मामले की गहनता से छानबीन की तो शव की पहचान महोबा जिले के मकरबई गांव निवासी 30 वर्षीय किरन के रूप में हुई। शव की पहचान होते ही पुलिस सक्रिय हुई और घटनास्थल के आसपास लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज खंगालना शुरू किया तो एक स्विफ्ट डिजायर संदिग्ध हालात में जाती दिखाई दी।
ये भी पढ़ें
हल्का सुबूत हाथ लगते ही पुलिस कार मालिक देवेन्द्र नाम के शख्स के पास पहुंची और पूछताछ शुरू की। पुलिस की पूछताछ में देवेन्द्र ने कहा कि कार उपनिरीक्षक अंकित कुमार यादव एक निमंत्रण में जाने के लिए ले गया था। पुलिस और गहनता से जांच पड़ताल की जो पता चला कि अंकित कुमार जो कबरई थाने बतौर उपनिरीक्षक के पद पर तैनात है। इंस्पेक्टर मौदहा के मुताबिक मृतका किरन पहले से शादीशुदा थी लेकिन अंकित कुमार यादव और किरन के बीच कुछ दिनों से आंखें चार हो गई थी। पुलिस का कहना है कि गिरफ्तार हत्यारोपी दरोगा अंकित ने पूछताछ में बताया किरन से पीछा छुड़ाना चाहता था, लेकिन वह तैयार नहीं थी, जिसके चलते वह उसे बहाने से बुलाया और हत्या कर भाग निकला था।
पुलिस की जांच में दागी दरोगा का चेहरा हुआ बेनकाब
हमीरपुर जिले की पुलिस ने महिला हत्याकांड के मामले में पुलिस की गहन जांच पड़ताल ने बेनकाब कर दिया। इस घटना को अंजाम किसी आम आदमी ने नहीं बल्कि कबरई थाने में तैनात उपनिरीक्षक अंकित कुमार यादव ने दिया था।
