अशून्य व्रत के दिन इस उपाय से पति-पत्नी में बढ़ता है प्यार और होती है बड़ी उन्नति

राजेंद्र गुप्ता
जयपुर। एक सिंदूर की डिब्बी में पांच गोमती चक्र रख कर उन्हें घर के मन्दिर में या पत्नी के श्रृंगार के सामान के साथ रख दें, पति-पत्नी के बीच में प्यार बढ़ाने के लिये यह कारगर उपाय है। इसके साथ ही एक भोजपत्र या सादे सफेद कोरे कागज पर लाल कलम से “हं हनुमंते नमः” लिखकर मंत्र का जाप करते हुए घर के किसी कोने में रख दें।
अगर आपका अपनी पत्नी से कुछ मन-मुटाव चल रहा है, तो आज रात को सोते समय अपनी पत्नी के तकिए के नीचे कपूर रख दें और अगले दिन उस कपूर को जला दें। अगर यही स्थिति पति के साथ हो तो पत्नी अपने पति के तकिये के नीचे सिंदूर की पुड़िया रख दें और सुबह अपने पति से कहें कि वह आपकी मांग में इस सिन्दूर को भरे। इससे आपके रिश्ते में मजबूती आयेगी।

दोनों के बीच मन-मुटाव दूर करके प्यार को बढ़ाने के लिये रात को सोते समय एक पात्र में पानी भरकर अपने बिस्तर के नीचे रखें| दूसरे दिन सुबह उस जल को घर के बाहर छिड़क दें। इसके साथ ही प्रतिदिन दो तुलसी की पत्ती को पूजा के समय मन्दिर में रखें और गायत्री मंत्र का 11 बार जाप करके एक पत्ता खुद खाएं और एक अपनी पत्नी को खिला दें, तो यह आपके रिश्ते के लिये और भी अच्छा होगा।

अशून्य शयन व्रत आज़ः पत्नी की लंबी उम्र के लिए पति रखते हैं अशून्य शयन व्रत

अपनी पत्नी को अपनी और आकर्षित करने के लिये शाबर मन्त्र ‘ऊँ क्षों ह्रीं ह्रीं आं ह्रां स्वाहा’ को आज से शुरू करके सात दिन तक लगातार लाल वस्त्र पहन कर तथा कुमकुम की माला धारण कर एक सौ एक बार जपे। इस मंत्र के जाप से आपकी पत्नी का प्यार आपके लिये कहीं अधिक बढ़ जायेगा। अगर आप इस मंत्र का जाप करने में कठिनाई महसूस करते हैं, तो आप केवल ‘ओम् ह्रीं नमः’ मंत्र का जाप भी कर सकते हैं। आज भगवान लक्ष्मीनारायण के चित्र या मूर्ति पर अपने हाथों से पीपल के पत्तों की माला धागे में पिरोकर अर्पित करें।

माता लक्ष्मी को आज के दिन सौंदर्य प्रसाधन, यानी श्रृंगार का सामान चढ़ाएं। आज सिक्के पर, चाहें एक रूपये का सिक्का हो, दो का हो या पांच का, उस पर अच्छी खुशबू वाला इत्र लगाकर विष्णु और लक्ष्मी जी के मंदिर में चढ़ाएं, आपकी मनोकामना जल्द ही पूरी होगी। आज पति-पत्नी मिलकर पक्षियों को बाजरे का दाना जरूर खिलाएं।

रात्रि के पहले पहर में मौन व्रत रहने से नौकरी में पदोन्नति मिलेगी। मौन व्रत चाहें आप किसी भी समय रहें लेकिन 20 मिनट तक जरूर रहें। अगर आप लगातार 20 मिनट तक न रह सके तो दिन में 5-5 मिनट करके चार बार या 10-10 मिनट करके 2 बार मौन व्रत रह सकते हैं। इससे आपका समय और मकसद दोनों पूरा हो जायेगा।

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