“गूगल गौरैया” बनने से पहले गौरैया को बचाइए : जीवोत्थान सेवा समिति
बाराबंकी। जनपद बाराबंकी के तहसील रामसनेही घाट के गाजीपुर स्थित रामार्पित महाविद्यालय में 20 मार्च को विश्व गौरैया दिवस पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया। जीवोत्थान सेवा समिति के अध्यक्ष विवेक सिंह के संयोजन में आयोजित इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि एमएलसी अंगद सिंह ने कहा कि आज गौरैया हमारे घरों से विलुप्त होती जा रही है, जिसका मुख्य कारण शहरीकरण और मोबाइल टावर से निकलने वाला उत्सर्जन है। हमें आज के दिन संकल्प लेना चाहिए कि अपने घरों पर गौरैया के लिए दाना – पानी व उनके निवास के लिए उचित व्यवस्था करनी चाहिए। वही कार्यक्रम में सामाजिक कार्यकर्ता आशीष सिंह ने बच्चों को संबोधित कर बताया कि बढ़ते शहरीकरण के कारण गौरैया अब आंगन में नहीं दिखती। पहले घर-घर अनाज धोया और सुखाया जाता था। यह छोटी और प्यारी से चिड़िया अनाज चुंगने घर आती थी।
हमारे बीच रहती थी। अब सब कुछ पैकेट बंद है। गौरैया को घरों की छतों पर अनाज और पानी नहीं मिल रहा। गौरैया के संरक्षण की जरूरत है और गौरैया को “गूगल गौरैया” बनने से पहले हमें रोकना आवश्यक है। इस अवसर पर डायरेक्टर प्रांजल सिंह, हरिओम तिवारी व रामगोपाल वर्मा सहित विद्यालय स्टाफ व छात्र – छात्राएं उपस्थित रहे। वहीं भिटरिया चौराहे पर स्थित आकांक्षा चिल्ड्रेन एकेडमी में जीवोत्थान सेवा समिति के अध्यक्ष विवेक सिंह ने बच्चों से गौरैया से जुड़ी जानकारियों पर प्रश्न पूछा और सही उत्तर देने वाले बच्चों को कृत्रिम गौरैया घर व फलदार पौधे देकर मुख्य अतिथियों द्वारा पुरस्कृत भी किया गया।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि निर्वतमान जिलाध्यक्ष भाजपा अवधेश श्रीवास्तव ने गौरैया को बचाने के लिए बच्चों से अपील किया। उन्होंने कहा वातावरण के संतुलन के लिए पेड़ – पौधों के साथ – साथ ये छोटा सा पक्षी भी हमारे लिए महत्वपूर्ण है। वहीं आर्टिस्ट सुमित कुमार ने मात्र एक मिनट में गौरैया का स्केच बनाकर लोगों का ध्यानाकर्षण किया। इस अवसर पर आशीष सिंह, आकांक्षा नर्सिंग होम के डायरेक्टर डॉ० रमेश सिंह, डॉ० राधा सिंह, आकांक्षा चिल्ड्रेन एकेडमी के प्रबंधक मनीष पांडेय, प्रधानाचार्य रेखा सिंह अंकित पांडेय, विशाल सिंह व सूरज सिंह गौर सहित तमाम छात्र – छात्राएं मौजूद रहे।