Ozone day:  कैसे हुई इस दिन को मनाने की शुरुआत और क्या है इतिहास? 

जयपुर से राजेंद्र गुप्ता


लखनऊ।  समय-समय पर आप ओजोन परत को लेकर बातें सुनते रहते होंगे कि इसे सुरक्षित रखना है, ओजोन परत पिघल रही है आदि। यही नहीं, इसके प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए कई कदम भी उठाए जाते हैं। इसी कड़ी में हर साल 16 सितंबर को वर्ल्ड ओजोन डे मनाया जाता है और लोगों को जागरूक किया जाता है कि ओजोन परत की कैसे सुरक्षा की जा सकती है। हमें ये समझना होगा कि जितना जरूरी मानव शरीर के लिए ऑक्सीजन है, उतनी ही ओजोन परत भी। इसलिए समय-समय पर वैज्ञानिक इस परत को लेकर लोगों को जागरूक करते हैं।

 

ये है इतिहास

बात ओजोन दिवस के इतिहास की करें, तो 19 दिसंबर 1964 को संयुक्त राष्ट्र महासभा ने ओजोन परत के संरक्षण के लिए 16 सितंबर को अंतरराष्ट्रीय ओजन दिवस मनाने की घोषणा की। यही नहीं, संयुक्त राष्ट्र और 45 अन्य देशों ने ओजोन परत को खत्म करने वाले पदार्थों पर मॉन्ट्रियल प्रोटोकॉल पर 16 सितंबर 1987 को हस्ताक्षर किए थे। इसके बाद पहली बार 16 सितबर 1995 को विश्व ओजोन दिवस मनाया गया और इसके बाद से हर साल ये दिन मनाया जाता है।

ओजोन परत क्या है?

दरअसल, ओजोन परत ऑक्सीजन के तीन परमाणुओं से मिलकर बनने वाली गैस है और ये पृथ्वी के वायुमंडल की एक परत है, जो सूर्य से आने वाली अल्ट्रावायलेट किरणों से हमें (मानव जाति) बचाने का काम करती है। यहां आपको बताते चलें कि फ्रांस के भौतिकविदों फैबरी चार्ल्स और हेनरी बुसोन ने 1913 में इस परत की खोज की थी।

ऐसे पहुंचता है ओजोन परत को नुकसान

हम घर पर एसी और फ्रिज का इस्तेमाल करते हैं और इनसे जो गैस निकलती है वो ओजोन परत को नुकसान पहुंचाती है। वहीं, प्राकृतिक कारकों में सौर क्रिया, वायुमंडलीय संरचरण, पृथ्वी के रचनात्मक प्लेट किनारों से निकलने वाली गैस, नाइट्रस ऑक्साइड, प्राकृतिक क्लोरीन और केंद्रीय ज्वालामुखी उद्गार से निकलने वाली गैसों से भी ओजोन परत को नुकसान पहुंचता है।


ज्योतिषी और हस्तरेखाविद/ सम्पर्क करने के लिए मो. 9611312076 पर कॉल करे


 

Religion

जन्म कुंडली नहीं है? तो करें ये महाउपाय

ज्योतिष समस्या से समाधान डॉ धनंजय मणि त्रिपाठी आपका बुरा समय चल रहा हो तो आपको किसी विद्वान ज्योतिषी की सहायता लेनी ही पड़ेगी। कुछ लोगों की जन्म कुंडली या जन्म विवरण सही नहीं होता। ऐसी दशा में कैसे पता लगाया जाए कि आप पर किस ग्रह का प्रभाव चल रहा है! कुछ लक्षण ऐसे […]

Read More
Purvanchal Religion

राम जन्मोत्सव का भजन सुनते ही जय श्रीराम के नारों से गूंज उठा पंडाल

भाव की पूर्णता से ईश्वर का साक्षात्कार संभव : प्रेमभूषण देवरिया। बैतालपुर क्षेत्र के खिरहां गांव में स्थित श्रीधाम मंदिर परिसर में चल रहे हरिहरात्मक महायज्ञ के अवसर पर मानस मर्मज्ञ प्रेमभूषण जी महराज ने अपने दो दिन की कथा में मानस का तत्वबोध कराने के बाद तीसरे दिवस की कथा में रामजन्मोत्सव की कथा […]

Read More
Religion

जीवन में रंगों का ज्योतिषीय महत्व

जयपुर से राजेंद्र गुप्ता इस हसीन दुनिया को और भी खूबसूरत बनाने वाले रंग दरअसल ज्योतिष में भी बेहद ही महत्वपूर्ण भूमिका रखते हैं। यह खूबसूरत रंग व्यक्ति के शारीरिक, मानसिक और भावनात्मक जीवन पर खासा प्रभाव डालते हैं। कई धर्मों में इन रंगों को अनुष्ठानों, समारोह और त्योहारों का प्रतीक भी माना जाता है। […]

Read More