सुख शांति
Litreture
आदित्य के बोल: हैं कितने अनमोल
स्वयं बड़ाई ना करें, बड़े ना बोलें बोल, तोल-मोल के बोलिये, रिश्ते हों अनमोल। सबकी नज़रों में कोई, कैसे रहे बेदाग़, अपनी नज़रों में नहीं, खुद गुनाह से भाग। मदद और मुस्कान हैं, सबसे अच्छे इत्र, जिसको भी कर दीजिए, वही बनेगा मित्र। अनबन इतनी ही भली, जो फिरसे बन जाय, दूर वहीं तक जाइए, […]
Read More